समाजशास्त्राीय सिद्धांत: अन्तर्विषयक परिप्रेक्ष्य (Sociological Theory: Intersubjective Perspective)

सुचित्रा शर्मा / अमरनाथ शर्मा / आभा विरेन्द्र (Suchitra Sharma | Amarnath Sharma | Aabha Virendra

समाजशास्त्राीय सिद्धांत: अन्तर्विषयक परिप्रेक्ष्य (Sociological Theory: Intersubjective Perspective)

सुचित्रा शर्मा / अमरनाथ शर्मा / आभा विरेन्द्र (Suchitra Sharma | Amarnath Sharma | Aabha Virendra

-20%796
MRP: ₹995
  • ISBN 9788131612491
  • Publication Year 2023
  • Pages 216
  • Binding Hardback
  • Sale Territory World

About the Book

समाजशास्त्राीय अनुशीलन पर्यावरणमुखी अनुस्थापनों पर आधरित रहा है। इसका उद्भव समाज की दूरगामी समझ और विवेचना पर जोर देता रहा है। व्यक्ति के मनोविज्ञानात्मक पक्ष को समाजशास्त्र के प्रकारात्मक गंभीर चिन्तन और विश्लेषण की आवश्यकता है। प्रत्यक्षवादोत्तर समाजशास्त्र में सैद्धान्तिक परिकल्पनाओं की शुरूआत हस्सर्ल से प्रारंभ कर नृजातिशास्त्र तक पहुंचाना एक कठिन कार्य था। मौजूदा विषयवस्तु सार्वभौमिक रूप से पूर्वगामी समाजशास्त्रीय सिद्धान्तों को आच्छादित करते हुए विशाल विषय क्षेत्र प्रदान करती है। इस पुस्तक में इसे यथा संभव सारग्रहित उपादेय और संप्रेषणीय बनाया गया है।

समाजशास्त्राीय विवेचना का यह कार्य दुष्कर और क्लिष्ट होते हुए भी लेखकों की यही चेष्टा रही कि समाजशास्त्र के इस नये क्षितिज को व्यक्तिपरक अन्तर्दृष्टि से प्रक्षेपित किया जाय, ताकि इस अनुस्थापन से आधार रूप से प्रबुद्धजन के मन और मस्तिष्क में उभरती हुई विश्लेषणात्मक अपेक्षाओं को दिशा मिले। उनके लिए निश्चित रूप से यह नई अवधारणात्मक और विवेचनात्मक संसार के माध्यम से नये गवाक्ष प्रदान करेगा जो प्रकाशमान समाजशास्त्र को सार्थक बनायेगा।


Contents

1    समाजशास्त्रीय सिद्धांत के अन्तर्विषयक परिप्रेक्ष्य
2    घटनाविज्ञानात्मक उपागम
3    मैक्स शेलर का घटनाविज्ञानात्मक परिप्रेक्ष्य
4    मैक्स वेबर का घटनाविज्ञानात्मक आयाम
5    अल्प्रेफड शूट्ज का अन्तर्विषयक संसार
6    हेरोल्ड गारपिफंकेल का लोक विधिविज्ञान
7    इरविन गॉपफमैन का नाट्यशास्त्रीय उपागम
8    हरबर्ट ब्लूमर का प्रतीकात्मक अन्तर्क्रियावाद
9    जार्ज हरबर्ट मीड का द्वन्द्वात्मक दर्शन
10    कार्ल मार्क्स का घटनाविज्ञानात्मक परिप्रेक्ष्य


About the Author / Editor

सुचित्रा शर्मा, पिछले 41 वर्षों से अध्यापन के साथ-साथ विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों, सेमिनार और वेबीनार में विषय विशेषज्ञ की भूमिका। दो शोध परियोजनाएं - आईसीएसएसआर और यूजीसी संपन्न। शोध निर्देशन में 11 पीएच.डी संपन्न। तीन पुस्तकें, 6 पुस्तकों में अध्याय लेखन, 60 से अधिक शोध-पत्र राष्ट्रीय और अंतरर्राष्ट्रीय स्तर पर तथा क्षेत्रीय स्तर पर 14 आलेख प्रकाशित। 100 से अधिक राष्ट्रीय और अंतरर्राष्ट्रीय सेमिनार, कार्यशाला और अधिवेशन में शोध प्रस्तुतीकरण। राष्ट्रीय स्तर पर 16 वेबीनार एवं 3 कार्यशाला का आयोजन। राष्ट्रीय स्तर पर 7 अवार्ड। वर्तमान में अकादमिक गतिविधियों के साथ-साथ मूल्य शिक्षा के द्वारा आध्यात्मिक परामर्श, साथ ही विशेष रूप से थर्ड जेंडर पर व्याख्यान एवं जागरूकता कार्यक्रम जारी, सम्प्रति शासकीय वि.या.ता. स्नातकोत्तर स्वशासी महाविद्यालय दुर्ग (छ.ग.) में कार्यरत।

अमरनाथ शर्मा, दिव्यायन कृषि विज्ञान केंद्र रामकृष्ण मिशन, रांची में परियोजना समन्वयक।  बीएआईएपफ (उर्लिकांचन) पुणे में बीपीओ, सेडमैप भोपाल में प्रबंध प्रशिक्षु। राष्ट्रीय स्तर पर दो अवार्ड। विभिन्न गैर सरकारी संगठनों में परामर्शदाता के रूप में कार्य। राष्ट्रीय और अंतरर्राष्ट्रीय स्तर की पत्रिकाओं में 25 शोध-पत्र प्रकाशित। पिछले 35 वर्षों से विभिन्न शासकीय महाविद्यालयों में अध्यापन कार्य। वर्तमान में शासकीय महाविद्यालय, बोरी, दुर्ग (छ.ग.) में कार्यरत।

आभा वीरेंद्र वर्तमान में बी.एस.एस.एम. महाविद्यालय धनबाद, झारखंड में लेक्चरर। राष्ट्रीय और अंतरर्राष्ट्रीय स्तर के सेमिनार में चार शोध-पत्र वाचन एवं तीन शोध-पत्र जर्नल्स में प्रकाशित। 23 वर्षों से विभिन्न संस्थानों में परामर्श कार्य, विषय विशेषज्ञ व्याख्यान, उत्प्रेरक समूह का निर्माण कार्य, विभिन्न परियोजनाओं का मार्गदर्शन से संबंधित कार्य का संचालन।


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